अब नई महंगाई की ‘लू’ चलना शुरू होगी

नई दिल्ली (ब्यूरो)। कल थोक महंगाई के आंकड़े जारी होने के बाद अब यह तय हो गया है कि आने वाले महीने में खुदरा महंगाई एक बार फिर 7 से 8 प्रतिशत और बढ़ जाएगी। थोक महंगाई चार महीनों के उच्चतम स्तर 14.55 पर पहुंच गई है। यह महंगाई कच्चे तेल और लगभग सभी सामानों की कीमतों में हुई वृद्धि के कारण बढ़ी है। वहीं कई कंपनियां नए सिरे से कीमतों में वृद्धि करना शुरू कर चुकी है।
कल थोक महंगाई के आंकड़े जारी होने के बाद इसका असर अगले महीने तक खुदरा महंगाई पर दिखाई देने लगेगा। एक साथ 14 प्रतिशत की महंगाई नीचे तक कंपनियां नहीं पहुंचाएंगी पर अगले दो माह में ही देश में महंगाई अपने चरम पर दिखाई देने लगेगी। अगले महीने 7 से 8 प्रतिशत की महंगाई लगभग सभी सामानों में हो जाएगी। पिछले सप्ताह जारी आंकडों में मार्च में खुदरा महंगाई 6.95 प्रतिशत रही, यह लगातार तीसरा महीना है जब उपभोक्ता मूल्य सूचकांक पर महंगाई 6 प्रतिशत की सीमा से अधिक रही। उल्लेखनीय है कि सब्जी पर 20 प्रतिशत महंगाई के अलावा फलों में 11.62 प्रतिशत, पेट्रोल-डीजल में 60 प्रतिशत तक महंगाई में उछाल बना रहा और यही कारण है कि खाने की 400 ग्राम की ब्रेड भी 45 रुपए तक पहुंच गई है। इधर गेहूं की महंगाई भी 14 प्रतिशत तक बढ़ गई है, जो अब तक की सबसे ज्यादा महंगाई है। आने वाले समय में कीमतों में कमी होने की अब कोई संभावना नहीं रहेगी। जानकारों का कहना है कि अब यह महंगाई भविष्य में ढांचागत महंगाई के रूप में स्थापित हो जाएगी, जो भविष्य में 2-3 प्रतिशत तक ही कम होने की संभावना रहेगी।

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