शंकर लालवानी के लाल पार्षद से महापौर तक टिकट की आस में

सबसे ज्यादा चार नंबर से चाह रहे, विधायक से पटरी बैठती नहीं

इंदौर।
सांसद शंकर लालवानी के पास पार्षद टिकट के लिए दावेदारी करने वाले बायोडाटा लेकर पहुंच रहे हैं। इनके बीच लालवानी से जुड़े ही इतने लाल (समर्थक) मौजूद है जो उनसे पार्षद से लेकर महापौर तक के टिकट की आस लगाए बैठे हैं। सबसे ज्यादा दावेदार चार नंबर से सामने आये हैं। जिनमे से एक की भी विधायक मालिनी गौड़ से पटरी बैठती नहीं है। ऐसे में लालवानी खुद उलझ गये हैं कि किसे खुश करें और किसे नाराज? इस आपाधापी से बाहर निकलेंगे तब कहीं दूसरों की मदद कर पायेंगे। लालवानी के पास बहुत बड़ी टीम नहीं है, लेकिन जिले के मुखिया होने के नाते उनके पास भी दावेदार पहुंच रहे हैं जो अपने इलाके के नेता और दीनदयाल दफ्तर की चौखट चढ़ रहे हैं।

लालवानी के पास दर्जनभर युवाओं की टोली है जो सभी टिकट मांगने खड़े हो गये हैं। लालवानी के लिए बरसों से डटे हैं और अब मौका मिला है तो पीछे मुड़कर देखना नहीं चाह रहे हैं। इनमे एक ऐसे भी है जो सीधे महापौर का टिकट चाह रहे है। इस पर लालवानी को भी नहीं सूझ रहा कि नाम आगे कैसे बढ़ाये। पार्षद के लिए जो दम ठोक रहे हैं और इलाके में खुद को सांसद का करीबी बताकर टिकट पक्का मानकर चल रहे हैं। इनमे से ज्यादातर की इलाके के विधायकों से पटरी नहीं बैठती है। ऐसे में टिकट कैसे आयेगा? ये खुद भी नहीं समझ पा रहे हैं। मगर उछलकूद करने लगे हैं। सतीश शर्मा, पवन शर्मा, पंकज फतेचंदानी, विशाल गिदवानी, संकल्प वर्मा, कमल गोस्वामी, कपिल जैन, महेश जोशी, कमल आहूजा, नरेश फुदवानी जैसे नाम तो खुलकर सामने आ गये हैं। बाकि पर्दे के पीछे से कोशिश में लगे हैं। सामने आयेंगे तो ये टीम पीछे लग जायेंगी। इनमे भी हर कोई अपनी जुगत लगाने में लगा हुआ है।

सतीश शर्मा, बंटी गोयल, पवन शर्मा, पंकज फतेचंदानी, विशाल गिदवानी, संकल्प वर्मा, कपिल जैन और नरेश फुदवानी चार नंबर में रहते हैं और इसी इलाके से टिकट चाह रहे हैं। लालवानी और विधायक मालिनी गौड़ की पटरी कभी बैठी नहीं वजह रही कि लालवानी शुरु से चार नंबर पर नजर लगाये बैठे रहें। अब सांसद बन गये है तो इस विधानसभा में बड़ा दखल देंगे ऐसा ये दावेदार मानकर चल रहे हैं। सतीश और पंकज की विधायक गौड़ से सीधी लड़ाई बरसों से चल रही हैं, लेकिन लालवानी के लिए इनका टिकट लाना पहली प्राथमिकता है। विशाल गिदवानी इस बार माँ कंचन गिदवानी की जगह टिकट चाह रहे हैं हालांकि कंचन भी रुकने को तैयार नहीं है। दोनों कोशिश में है कि किसे भी टिकट मिल जाए। संकल्प वर्मा भी संकोच में है कभी पत्नी की दावेदारी तो कभी खुद की दावेदारी जताते है। कपिल जैन गुमास्ता नगर से टिकट की दौड़ में है तो नरेश फुदवानी सिंधी इलाकों से फुदफुदा रहे हैं। सिंधी कोटे से एक और सिक्ख कोटे से भी एक टिकट तय माना जा रहा है। मालिनी गौड़ के पास भी इसी कोटे के कई नाम है। जिन पर सांसद और विधायक के बीच घमासान होना है।

पार्षद नहीं महापौर चाहिए
जानकार बता रहे हैं कि लालवानी की मंशा है कि चार नंबर की बजाए एक नंबर से कुछ समर्थकों की मदद कर दी जाए। सतीश शर्मा की पूर्व विधायक सुदर्शन गुप्ता से पटरी बैठती है। उन्हें उन्हीं के इलाके में टिकट दिलाने की कोशिश हैं, हालांकि सतीश के लिए उनकी टोली महापौर का टिकट मांग रही हैं और यही टीम लालवानी पर दबाव भी बनाने लगी है। महापौर के लिए जिस तरह कांग्रेस ने ब्राह्मण नेता संजय शुक्ला को आगे किया है, भाजपा की तरफ से भी ब्राह्मण को उतारने की मांग हो रही हैं। उसी को देखते हुए लालवानी समर्थक शर्मा का नाम आगे कर रहे हैं। पंकज का टिकट भी लालवानी के लिए आसान नहीं है, मगर वे अड़ेंगे। पंकज उनके लिए काफी कुछ कर रहे है। कमल गोस्वामी राऊ में रहते है, इंद्रपुरी से टिकट चाह रहे हैं, लेकिन मधु वर्मा से पटरी बैठती नहीं है। वर्मा किसी भी हाल में गोस्वामी का टिकट होने नहीं देंगे यह उनका घरेलू वार्ड है। बंटी गोयल के मामले में जरुर तीन नंबर में लालवानी मदद करेंगे। बंटी जिस वार्ड में रहते हैं वह अग्रवाल बाहुल्य है और बंटी अग्रवाल युवा संगठन के अध्यक्ष भी रह चुके है। आकाश विजयवर्गीय से पटरी भी बैठती है। आशा विजयवर्गीय के भी चहेते है। विधायक से तालमेल के चलते बंटी का टिकट लाना लालवानी के लिए मुश्किल भरा नहीं रहेगा, लेकिन कैलाश विजयवर्गीय की मंजूरी लगेगी। महेश जोशी के मामले में भी लालवानी महेंद्र हार्डिया से बात कर सकते है, लेकिन अड़ेंगे नहीं। लालवानी कोटे के टिकट यहीं घूमेंगे। दो नंबर तरफ देखेंगे नहीं और चार नंबर में जमकर चलेगी।

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