दो पुलिस अधिकारियों का भाई सीबीआई की हिरासत में, मामला आयकर को सौंपा जाएगा

देवेन्द्र जैन की बेवकूफी दिलीप सूर्यवंशी पर भारी पड़ी

इंदौर। 20 लाख करोड़ रुपए की रिश्वत के मामले में दिलीप बिल्डकान के घर और दफ्तरों पर सीबीआई के छापे के बाद मिले 4 करोड़ रुपए नकद के मामले में अब यह प्रकरण आर्थिक अपराध और आयकर विभाग को भी सौंपा जा रहा है। इंदौर और भोपाल में मेट्रो का काम कर रही यह कंपनी पहले भी इंदौर में सुपर कॉरिडोर पर काम कर चुकी है। इस छापे की कार्रवाई के मुख्य आधार रहे देवेन्द्र जैन जो कंपनी के सीईओ के रूप में काम कर रहे हैं, वे पुलिस विभाग के दो बड़े अधिकारियों के सगे भाई है। अब इस मामले में जांच की आंच इनके दरवाजे भी पहुंचना तय है। पहली बार ऐसा हुआ है कि सीबीआई ने बड़े दिग्गज पुलिस अधिकारियों के भाई पर हाथ डाला है। देवेन्द्र जैन की बेवकूफी ही दिलीप बिल्डकान पर भारी पड़ गई है। आज शेयर बाजार में भी दिलीप बिल्डकान के शेयरों में भारी गिरावट दर्ज की गई है।
दिलीप बिल्डकान के सीईओ देवेन्द्र जैन ने एक बड़े ठेके के लिए 20 लाख रुपए की रिश्वत राष्ट्रीय राजमार्ग के एक इंजीनियर को देने की कोशिश की थी, लेकिन इस बीच इसी ठेके को लेने वाली प्रतिस्पर्धी कंपनी की शिकायत पर यह मामला सीबीआई पहुंचा और कंपनी की सीईओ देवेन्द्र जैन के साथ 20 लाख रुपए की रिश्वत के बाद यह आंच दिलीप बिल्डकान पर भी पहुंच गई। 1993 में जब दिलीप बिल्डकान ने निर्माण क्षेत्र में कामकाज प्रारंभ किया था, तब पहला ठेका 4 करोड़ रुपए का ही लिया था। अब आज सीबीआई ने इतनी ही रकम नकद जब्त की है। इधर देवेन्द्र जैन के एक भाई मुकेश जैन अभी परिवहन आयुक्त थे एवं उपेन्द्र जैन चेयरमेन पुलिस हाऊसिंग बोर्ड है। दोनों ही मध्यप्रदेश में अब तक क्रीम पदों पर ही रहे हैं। 4 करोड़ से कामकाज शुरू करने वाली दिलीप बिल्डकान आज 9 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा की कंपनी 33 साल में बन गई है। हालांकि उसके पीछे कंपनी की दूरदृष्टि और मेहनत भी है। इधर देवेन्द्र जैन से सीबीआई और भी मामलों में पूछताछ कर रही है। अब यह मामला आयकर विभाग के पास भी पहुंचेगा। वहीं शेयर बाजार में दिलीप बिल्डकान के शेयरों में साढ़े सात प्रतिशत की गिरावट पहले दो घंटे में ही हो चुकी थी। माना जा रहा है कि आगे की कार्रवाई के चलते दिलीप बिल्डकान को और नुकसान होने की संभावना है। वहीं आयकर विभाग और ईडी की जांच शुरू होने के बाद कई दिग्गज अधिकारियों के पैसों का मामला भी उजागर हो सकता है। दिलीप बिल्डकान के भाजपा के बड़े नेताओं से गहरे रिश्ते है।

सुपर कॉरिडोर के ठेके में रिश्वत की शिकायत ऊपर तक गई थी
जब दिलीप बिल्डकान सुपर कॉरिडोर पर ठेका लेने के बाद काम करने की तैयारी कर रही थी, उस दौरान इंदौर विकास प्राधिकरण के संचालक मंडल के एक उपाध्यक्ष और एक संचालक ने दिलीप सूर्यवंशी से सीधे रिश्वत मांगी थी। उस समय यह बताया गया था कि यह कंपनी मुख्यमंत्री से भी जुड़ी हुई है। परन्तु दोनों ही रिश्वत को लेकर अड़ रहेे। बाद में वे शिकायतों के बाद राजनीति में वापसी नहीं कर पाए।

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