राखी त्यौहार पर खरीददारी से कपड़ा बाजार में उठाव
मिठाई और राखी विक्रेताओं को भी अच्छी ग्राहकी की उम्मीद
इंदौर। इन दिनों राखी से संबंधित वस्तुओं की खरीददारी जोरों पर है तो एक अर्से के बाद कपड़ा बाजार में जबर्रदस्त उठाव देखने को मिल रहा है। इन दिनों कपड़ा मार्केट मेंजबर्रदस्त ग्राहकी और खरीददारों की गहमागहमी देखने को मिल रही है। इस गहमागहमी में कहीं न कहीं कोरोना संक्रमण से बचाव और रोकथाम वाली कोविड १९ की गाइडलाइन नदारत नजर आ रही है। वहीं कपड़ों की ग्राहकी के बाद अब राखी विक्रेताओं और मिठाई विक्रेताओं को यह उम्मीद है कि त्यौहारी सीजन में उनका भी धंधा चल निकलेगा।
कोरोना वायरस की सक्रियता और संक्रमण के कारणपिछले लगभग ढाई तीन सालों से व्यापार व्यवसाय में लंबा सूखा देखने को मिल रहा है। किराना और तेल बाजार को छोड़ दे तो शेष तमाम धंधों में भारी मंदी छाई रही और इस मंदी ने तथा कोरोना वायरस ने इनकी पूंजी भी ब्लॉक कर दी। हालांकि अभी थर्ड वैरिएंट की सक्रियता की बातें भी हो रही है लेकिन इन सब के बीच राखी का त्यौहार कपड़ा व्यापारियों के लिए खुशखबरी लेकर आया है और उनकी ग्राहकी चल निकली है। फिलहाल स्थिति यह है कि कपड़ा बाजार में अच्छी खासी तेजी देखने को मिल रही है। साड़ी, लंहगा, सलवार सूट, लेगिंग, कुर्ते सहित महिलाओं संबंधी वों की खूब बिकरी हो रही है। इस संवाददाता ने जब कपड़ा बाजार के कुछ व्यवसाइयों से इस संदर्भ में चर्चा की तो उनका कहना था कि लगभग दो साल बाद उनका स्टाक ठिकाने लगने की कगार पर पहुंचा है। बीच में दो तीन बार मांगलिक कार्यों के दौरान जरुर थोड़ी बहुत लहर आई थी लेकिन अभी तो ग्राहकी अच्छी है और राखी तक इसी प्रकार बेहतर माहौल बना रहा तो उनके दो साल के घाटे की पूर्ति हो सकती है।
मिठाई और राखी विक्रेताओं को भी अच्छी ग्राहकी की उम्मीद
इधर कपड़ा व्यवसाय में तेजी के बाद राखी विक्रेताओं और मिठाई विक्रेताओं को भी उम्मीद है कि एक अर्से के बाद उनकी ग्राहकी भी चल निकलेगी पिछले साल तो राखी विक्रेताभी परेशान थे लेकिन इस बार स्थितियां थोड़ी अलग है और वह उन्हें बेहतर प्रतित हो रही है। वहीं मिठाई विक्रेताओं का मानना है कि यदि सबकुछ ठीक रहा तो वे भी पिछले घाटे की आंशिक भरपाई कर देंगे।
कोविड १९ गाइडलाइन की उड़ रही है धज्जियां
इन दिनों कपड़ा मार्केट में सबसे ज्यादा कोविड १९ गाइडलाइन की धज्जियां उड़ रही हैं। यहां खरीददार के साथ साथ दुकानदारों और उनके सहायकों के मुंह पर भी मास्क नदारत है और जो दूरी बनाये रखना है वह भी बनाये नहीं रखी जा रही है। अभी कोरोना का संक्रमण खत्म नहीं हुआ है ऐसे में जहां लोगों को समझदारी का परिचय देना चाहिए वह नहीं दे पा रहे हैं। दुकानों पर सेनेटाइजेशन की भी व्यवस्था नहीं है और दुकानों पर आने वाले ग्राहकों को दुकानदारों द्वारा सेनेटाइज भी नहीं किया जा रहा है।